दिल्ली आबकारी नीति घोटाले में सीबीआई ने पहली चार्जशीट दाखिल की

नई दिल्ली | केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने शुक्रवार को दिल्ली आबकारी नीति घोटाले में पहला आरोप पत्र दाखिल किया, जिसमें उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया भी आरोपी हैं। सीबीआई ने अपनी एफआईआर में सिसोदिया को पहले नंबर पर आरोपी बनाया है। सीबीआई की प्राथमिकी आईपीसी की धारा 120-बी (आपराधिक साजिश) और 477-ए (खातों में हेराफेरी) के तहत दर्ज की गई है।

सिसोदिया पर आरोप है कि शराब कारोबारियों को कथित तौर पर 30 करोड़ रुपये की छूट दी गई। लाइसेंसधारियों को कथित तौर पर उनकी मर्जी से एक्सटेंशन दिया गया था। आबकारी नियमों का उल्लंघन कर नीति नियम बनाए गए।

इसने यह भी कहा कि सिसोदिया और कुछ शराब कारोबारी सक्रिय रूप से शराब के लाइसेंसधारियों से एकत्र किए गए आर्थिक लाभ को लोक सेवकों के लिए प्रबंधित करने और हटाने में सक्रिय रूप से शामिल थे, जिन्हें मामले में आरोपी बनाया गया है।

आईएएनएस ने एफआईआर पर नजर डाली तो उसमें लिखा था कि, मनीष सिसोदिया दिल्ली के उपमुख्यमंत्री, अरवा गोपी कृष्ण, तत्कालीन आयुक्त (आबकारी), आनंद तिवारी, तत्कालीन उपायुक्त (आबकारी), और पंकज भटनागर, सहायक आयुक्त (आबकारी) ने वर्ष 2021-22 के लिए आबकारी नीति सक्षम प्राधिकारी के अनुमोदन के बिना निविदा के बाद लाइसेंसधारियों को अनुचित लाभ देने के इरादे से सिफारिश करने और संबंधित निर्णय लेने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।

सीबीआई ने अब तक इस मामले में दो गिरफ्तारियां की हैं।

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