
नई दिल्ली-डीवीएनए। दुष्कर्म के मामले में जेल में सजा काट रहे आसाराम बापू को सुप्रीम कोर्ट से राहत नहीं मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने आसाराम को अंतरिम जमानत देने से इनकार कर दिया है। हालांकि, शीर्ष कोर्ट ने इस बात का परीक्षण करने का फैसला लिया है क्या दुष्कर्म मामले में उम्रकैद की सजा काट रहे आसाराम बापू को राजस्थान के आयुर्वेदिक अस्पताल में इलाज के लिए शिफ्ट किया जा सकता है या नहीं?
कोरोना से पीडित हो चुके आसाराम ने आग्रह किया है कि उन्हें एलोपैथिक दवाओं के सहारे न रखा जाए। इस संबंध में सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार तक राज्य को इस संबंध में पक्ष रखने के लिए कहा है और अब मंगलवार को इस मामले की सुनवाई होगी। वहीं सुप्रीम कोर्ट ने इस संबंध में राज्य सरकार से जवाब मांगा है।
उच्च न्यायालय ने आसाराम को उनकी पंसद के चिकित्सा केंद्र में उपचार कराने के लिए सजा निलंबन की याचिका खारिज कर दी थी। उल्लेखनीय है कि आसाराम को यौन उत्पीडन के मामलों में उम्र कैद की सजा समेत विविध अवधि के कारावास की कई सजा मिली है। याचिका पर सुनवाई के दौरान पीठ ने कहा, श्श्हम चिकित्सा के विशेषज्ञ नहीं हैं।्य्य पीठ ने कहा कि वह सजा निलंबन पर विचार नहीं करेगी बल्कि आसाराम को उत्तराखंड के एक केंद्र में उपचार कराने की इजाजत देने के बाबत राज्य का रूख जानना चाहेगी। न्यायालय ने कहा, श्श्हम सरकार से कहेंगे कि वह उन्हें वहां (केंद्र में) भर्ती कराए। आसाराम के वकील सिद्धार्थ लूथरा ने सुप्रीम कोर्ट से कहा कि सीटी स्कैन से पता चलता है कि आसाराम के फेफड़ों को 38 फीसीदी नुकसान हुआ है और उन्हें वायरल निमोनिया है। साथ ही उन्हें गैस्ट्रो-आंत्र रोगों से पीडित और ऑक्सीजन की समस्या है।
बता दें कि आसाराम बापू साल 2013 से जोधपुर की सेंट्रल जेल में सजा काट रहा है।
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